
इनके लिए कहा जाता है- आईपीएस बनना कठिन है पर सुनील कुमार पाण्डेय बनना असंभव…
मंदसौर, 8 सितम्बर । शनिवार 4 सितम्बर की रात्रि में मंदसौर जिले के पुलिस अधीक्षक श्री सिध्दार्थ चौधरी का तबादला हुआ और उनके स्थान पर एसपी श्री सुनील कुमार पाण्डेय को मंदसौर जिले के पुलिस अधीक्षक का दायित्व सौंपा गया है । वैसे एसपी श्री सिध्दार्थ चौधरी का कार्यकाल एक यादगार कार्यकाल रहा और अपने कार्यकाल में एसपी श्री चौधरी ने माफिया अभियान के चलते कई उल्लेखनीय उपलब्धियां हासिल की है जिनके लिए उन्हें मंदसौर जिले की जनता सदैव ही याद रखेगी ।
उनके स्थान पर एसपी के रूप में आईपीएस श्री सुनील कुमार पाण्डेय ने 7 सितम्बर को मंदसौर जिले का पदभार ग्रहण किया ।
वैसे मंदसौर जिले का सौभाग्य है कि जिले को एक अनुभवी, दूरदर्शी, ईमानदार और त्वरित निर्णय लेने वाले एसपी श्री सुनील कुमार पाण्डेय मिले है । जिनके अनुभव और दृढ़ निश्चय से भरी कार्यशैली का लाभ मंदसौर जिले को जरूर प्राप्त होगा । इनके लिए कहा जाता है- “आईपीएस बनना कठिन है पर सुनील कुमार पाण्डेय बनना असंभव” –
मुरैना में 4 महीने तक रहे एसपी, खत्म किया माफिया राज
मंदसौर जिले के नवागंतुक एसपी श्री सुनील कुमार पाण्डेय वर्तमान में पुलिस मुख्यालय में सहायक पुलिस महानिरीक्षक के पद पर पदस्थ थे। इससे पूर्व श्री पाण्डेय मुरैना जिले के एसपी थे । मुरैना में जहरीली शराब पीने से 21 ग्रामीणों की मौत हो गई थी जिसके बाद श्री सुनील कुमार पाण्डेय को मुरैना जिले का एसपी बनाया गया था। श्री पाण्डेय मुरैना में महज 4 महीने पदस्थ रहे । लेकिन इन 4 महीनों में एसपी श्री पाण्डेय ने वह कर दिखाया जिसके लिए वह जाने एवं पहचाने जाते थे । 4 माह के कार्यकाल में श्री पाण्डेय ने शराब माफियाओं के नाक में नकेल डाल दी वहीं रेत माफिया के साम्राज्य को भी खत्म कर दिया । यहीं नहीं इनके कार्यकाल में सैकड़ों बदमाशों को जिला बदर किया गया, जुंआ-सट्टा को भी इनके द्वारा पनपने नहीं दिया गया उसे भी पूर्ण रूप से खत्म कर दिया गया ।
क्यों हुआ मुरैना से तबादला ?
कोई अधिकारी ईमानदारी से अपने दायित्वों का निर्वहन करें और जिले में उनकी लोकप्रियता बढ़े यह किसी भी नेता को पसंद नहीं आता है । इसलिए वक्त-वक्त पर ईमानदार अधिकारियों को उनकी ईमानदारी के ईनाम भी मिलते रहते है ।
मुरैना मेंभी कुछ ऐसा ही हुआ । 21 जनवरी 2021 को श्री सुनील कुमार पाण्डेय ने मुरैना एसपी के रूप में पदभार ग्रहण किया था तथा 4 महीने बाद उनका मुरैना से तबादला कर दिया गया । तबादले के पीछे कारण ऐसे थे जिन्हें उजागर नहीं किया जा सकता था इसलिए यह कहा गया कि श्री पाण्डे ना माफिया पर नकेल कस पाए और ना ही कानून व्यवस्था बना पाए ! लेकिन मंदसौर संदेश के सूत्रों ने जानकारी दी कि 4 माह में श्री पाण्डे ने शराब माफिया के साथ-साथ रेत माफियाओं की नाक में नकेल डालने का काम किया। मुरैना को माफिया मुक्त बनाने में श्री पाण्डे ने कोई कसर नहीं छोड़ी ।
मुरैना से तबादले का कारण यह रहा कि मुरैना में खुले आम गोलीयां चलाने वालों में एक पूर्व पार्षद को भी आरोपी बनाया गया था । इसे बचाने के लिए एक पूर्व विधायक ने एसपी श्री सुनील कुमार पाण्डेय पर दबाव बनाया पर एसपी ने विधायक की एक नहीं सुनी। इसके बाद पूर्व विधायक ने दिल्ली से एसपी श्री पाण्डेय को फोन लगवाया । बताते है कि दिल्ली में कोई वरिष्ठ थे जिनकी बात स्वयं मुख्यमंत्री भी नहीं टालते थे लेकिन एसपी श्री पाण्डेय ने स्पष्ट कह दिया- ’वो अपराधी है और वो जेल जाएगा’ ।
बस इसी ईमानदारी और्र कत्तव्यनिष्ठा के चलते एसपी श्री सुनील कुमार पाण्डेय का मुरैना से तबादला कर दिया गया ।
15 अगस्त को मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा राष्ट्रपति पदक विजेता पुलिस अधिकारियों को सम्मानित किया गया था । इस दौरान एसपी श्री सुनील कुमार पाण्डेय भी उत्कृष्ट सेवा पदकक् से सम्मानित किए गए थे ।
मिलिए अपने नए एसपी श्री सुनील कुमार पाण्डेय से
श्री सुनील कुमार पाण्डेय का जन्म मूलतः इलाहाबाद उत्तरप्रदेश के ग्राम नई बाजार तहसील फूलपुर थाना माउअईका मेंहुआ है । जिनकी प्राथमिक शिक्षा इलाहाबाद शासकीय विद्यालय में हुई । बीए की डिग्री हासिल करने के बाद वर्ष 1995 में प्रशिक्षु अधिकारी के रूप में पहली पोस्टिंग जबलपुर में हुई । इसके बाद 29 जनवरी 1996 से 27 जुलाई 1998 तक उन्होंने बीजापुर दंतेवाड़ा एसडीओपी पद की कमान संभाली ।
इसके बाद शाजापुर, छिंदवाड़ा ओर वर्ष 2001 से 2004 तक रीवा में एसडीओपी के रूप में कार्य किया । वर्ष 2006 में वे अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक के रूप में पन्ना पहुंचे । वर्ष 2006 से 2007 तक वे अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक के पद पर तैनात रहें । वर्ष 2011 से 2015 तक उन्हें इंटेलिजेंस में रहने का मौका मिला और 2015 में वे पुलिस अधीक्षक के रूप में श्योपुर जिले में आए । 2016 में उनका तबादला शिवपुरी हो गया । उसके बाद श्री पाण्डे शिवपुरी, खरगौन के एसपी रहे तथा 2021 में उन्हें जहरीली शराब कांड के बाद मुरैना का एसपी बनाया गया, 4 माह यहां रहने के बाद इनका तबादला पुलिस मुख्यालय में सहायक पुलिस महानिरीक्षक पद पर हो गया और अब इन्हें मंदसौर जिले का एसपी बनाकर भेजा गया है ।
जीवन का यादगार लम्हा
पुलिस अधीक्षक श्री सुनील कुमार पाण्डेय 1997 में बीजापुर दंतेवाड़ा थाने में एसडीओपी के रूप में पदस्थ थे । उन्हें एक दिन वायरलेस पर सूचना मिली कि थाने पर कुछ नक्सलियों ने हमला बोल दिया है । नक्सली सीढ़ियों के सहारे छत पर बैठकर फायरिंग कर रहे है । जो भी पुलिस वाहन जा रहा है, वे उस पर ग्रेनाइट फेंककर उसे ब्लास्ट कर देते थे ।
सूचना मिलने के बाद करीब 22 किलोमीटर पैदल चलकर श्री सुनिल कुमार पाण्डेय थाने पहुंचे तो सभी पुलिस कर्मियों ने उनकी तरफ देखा और पुलिस कर्मियों की आंखों से आंसू झलक पड़े । उन्हें लगा जैसे उनकी मदद के लिए श्री पाण्डेय वहां पहुंच गए है, उन्हें अब किसी बात की चिंता नहीं है । यह लम्हा श्री पाण्डेय के लिए यादगार लम्हा है । इस मुठभेड़ में 5 नक्सलियों का खात्मा किया गया था ।