
प्रतापगढ। जिला कलक्टर नेहा गिरि ने कहा है कि कारागृह में रहने वाले बंदियों को बेहतर एवं स्वस्थ माहौल मिलना चाहिए ताकि वे तनावमुक्त रहकर अपने बाकी जीवन को सकारात्मक ढंग से जीने की प्रेरणा पाल सकें।
वे बुधवार को अपने कक्ष में हुई जिला पैरोल समिति की बैठक को संबोधित कर रही थी। बैठक में एसपी केआर रावत, एडीएम अनुराग भार्गव, जेल प्रभारी हैड कांस्टेबल मुकेश कुमार, समाज कल्याण विभाग के सहायक निदेशक जेपी चांवरिया ने भाग लिया। इस दौरान जिला कलक्टर ने कहा कि जेल में बंदियों के लिए योग एवं मोटीवेशनल गतिविधियां आयोजित की जानी चाहिए। इसके अलावा उन्हें नियमित तौर पर खेल गतिविधियों से भी जोड़ा जा सकता है। उनके भीतर आपसी प्रतिस्पर्धा आयोजित कर जीतने वालों को पुरस्कृत किया जा सकता है। खेल गतिविधियां होने से उनका तन व मन स्वस्थ रहेगा तथा वे भविष्य के बारे में बेहतर ढंग से सोच सकेंगे।
उन्होंने जिला पुलिस अधीक्षक से कहा कि जेल का नियमित तौर पर निरीक्षण कराएं और यह देखें कि बंदियों को नियमानुसार दी जाने वाली सुविधाएं मिलें तथा सुरक्षा में भी किसी प्रकार की कोताही नहीं हो। उन्होंने कहा कि जीवन कभी खत्म नहीं होता तथा प्रत्येक व्यक्ति को बेहतर भविष्य का स्वप्न देखने का हक है। बंदियों को भी वह माहौल मिलना चाहिए कि वे अपनी बाकी जिंदगी में कुछ अच्छा और बेहतर करने के बारे में सोच सकें। उन्हें सृजनात्मक गतिविधियों से जोड़ा जाना चाहिए। उन्होंने जेल प्रभारी से कहा कि वे जेल की व्यवस्थाओं को बेहतर बनाएं, उसमें किसी प्रकार की शिकायत नहीं आनी चाहिए। इस दौरान जेल में जैमर, वाच टावर, सीसी कैमरा आदि लगाए जाने पर भी विस्तार से चर्चा की गई।